जून 13, 2021

अधूरा प्यार

हिंदी कविता Hindi Kavita अधूरा प्यार Adhoora pyaar

लब पर तेरे मेरा नाम नहीं आता है,


जो मैं पुकारूँ फिर भी तेरा पैगाम नहीं आता है,


जग के समक्ष मुझको तू जब-जब बदनाम करती है,


जानता हूँ दिल-ही-दिल में आह भरती है,


दस्तूर दुनिया का बदल सकते नहीं हैं हम,


इक-दूजे संग चाहकर भी जी सकते नहीं हैं हम ||

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

राम आए हैं